जॉइंट होम लोन: परिवार के साथ मिलकर घर खरीदने का समझदारी भरा तरीका, जानें फायदे और पूरा प्रोसेस

घर खरीदने का सपना हर किसी का होता है, लेकिन आजकल प्रॉपर्टी की कीमतें ऐसी हैं कि अकेले लोन लेकर घर लेना कई बार जेब पर भारी पड़ जाता है। ऐसे में “Joint Home Loan” एक ऐसा ऑप्शन है जो न सिर्फ आपकी लोन लेने की क्षमता बढ़ाता है, बल्कि टैक्स में भी राहत देता है।

अगर आप अपने लाइफ पार्टनर, माता-पिता या किसी करीबी रिश्तेदार के साथ घर खरीदने की सोच रहे हैं, तो जॉइंट होम लोन आपके लिए फायदेमंद साबित हो सकता है। यह सिर्फ EMI बांटने का तरीका नहीं है, बल्कि एक स्मार्ट फाइनेंशियल प्लानिंग का हिस्सा भी है।


जॉइंट होम लोन क्या होता है?

जॉइंट होम लोन ऐसा लोन है जिसे दो या दो से अधिक लोग मिलकर लेते हैं। इस लोन में सभी व्यक्ति समान रूप से जिम्मेदार होते हैं — यानी EMI की खुशी और तकलीफ दोनों साझा!

आमतौर पर पति-पत्नी, माता-पिता-बच्चे या भाई-बहन (कुछ मामलों में) मिलकर जॉइंट होम लोन लेते हैं। इसका फायदा यह होता है कि बैंक को दो आय स्रोत दिखाई देते हैं, जिससे लोन अप्रूवल आसान हो जाता है और अमाउंट भी ज्यादा मिलता है।


किन फैमिली मेंबर्स के साथ लिया जा सकता है जॉइंट होम लोन?

हर रिश्तेदार के साथ लोन लेना संभव नहीं है। बैंक सिर्फ कानूनी रिश्तों को ही मान्यता देता है। नीचे दी गई टेबल से समझिए कि किन रिश्तों में जॉइंट होम लोन लिया जा सकता है 👇

रिश्ते का प्रकार क्या जॉइंट लोन ले सकते हैं? विशेष शर्तें
पति-पत्नी ✔️ हां सबसे कॉमन और आसान विकल्प
पिता-पुत्र ✔️ हां प्रॉपर्टी में दोनों की हिस्सेदारी जरूरी
मां-बेटा ✔️ हां दोनों की आय स्थिर होनी चाहिए
पिता-बेटी ✔️ हां बेटी की आय हो तो बेहतर
भाई-बहन ⚠️ कुछ बैंकों में कानूनी दस्तावेजों में दोनों के नाम जरूरी
दोस्त या पार्टनर (कानूनी विवाह न हो) ❌ नहीं बैंक इसे वैध नहीं मानता

तो अगर आप सोच रहे हैं कि “दोस्त के साथ घर ले लेते हैं”, तो बैंक कहेगा – “पहले रिश्ता तय करो!” 😄


जॉइंट होम लोन लेने के फायदे

घर खरीदना बड़ा फैसला होता है, और अगर वो परिवार के साथ मिलकर किया जाए, तो फायदे कई गुना बढ़ जाते हैं। आइए जानते हैं कि जॉइंट होम लोन के प्रमुख फायदे क्या हैं 👇

1. ज्यादा लोन अमाउंट मिलता है

जब दो लोगों की इनकम जुड़ जाती है, तो बैंक का भरोसा बढ़ जाता है। इसका मतलब है कि आपको अकेले की तुलना में ज्यादा अमाउंट का लोन मिल सकता है। इससे बड़ा और बेहतर घर खरीदना आसान हो जाता है।

2. जल्दी अप्रूवल होता है

दो लोगों की आय और बेहतर क्रेडिट स्कोर होने पर बैंक को रिस्क कम लगता है। इसलिए लोन अप्रूवल जल्दी हो जाता है — कभी-कभी तो 48 घंटे के अंदर ही पैसा खाते में ट्रांसफर हो जाता है।

3. सस्ती EMI और बेहतर ब्याज दरें

अगर दोनों की इनकम स्थिर है, तो आप लंबा टेन्योर चुन सकते हैं, जिससे EMI हल्की रहती है। साथ ही कई बैंक को-बॉरोअर के हिसाब से ब्याज दर में छूट भी देते हैं।

4. टैक्स बेनिफिट्स का डबल फायदा

सेक्शन 80C और 24(b) के तहत दोनों एप्लिकेंट्स को टैक्स में छूट मिलती है। यानी हर व्यक्ति 3.5 लाख रुपये तक के टैक्स बेनिफिट का फायदा उठा सकता है।

5. जिम्मेदारी साझा होती है

एक साथ EMI भरने से किसी एक पर पूरा बोझ नहीं पड़ता। अगर किसी महीने एक व्यक्ति व्यस्त है या खर्च ज्यादा हो गया, तो दूसरा संभाल सकता है। टीमवर्क यहीं काम आता है!


जॉइंट होम लोन लेने की एलिजिबिलिटी

हर कोई जॉइंट लोन नहीं ले सकता। इसके लिए कुछ जरूरी शर्तें होती हैं जिन्हें पूरा करना जरूरी है।

पात्रता मानक विवरण
उम्र सीमा न्यूनतम 21 वर्ष और अधिकतम 65–70 वर्ष तक
रिश्ते की वैधता कानूनी रिश्तेदार होना जरूरी (पति-पत्नी, माता-पिता, संतान आदि)
आय का स्रोत दोनों की आय स्थिर और प्रमाणित होनी चाहिए
क्रेडिट स्कोर दोनों का स्कोर 700 या उससे अधिक होना चाहिए
रिपेमेंट क्षमता संयुक्त इनकम से EMI का भुगतान संभव होना चाहिए

जॉइंट होम लोन लेने का पूरा प्रोसेस

जॉइंट होम लोन का प्रोसेस थोड़ा लंबा लग सकता है, लेकिन अगर स्टेप्स पता हों तो यह बहुत आसान हो जाता है। चलिए जानते हैं स्टेप-बाय-स्टेप तरीका 👇

1. सही पार्टनर चुनें

यह मजाक नहीं, हकीकत है! लोन पार्टनर वही होना चाहिए जिस पर पूरा भरोसा हो। क्योंकि EMI सिर्फ पैसों की नहीं, भरोसे की भी परीक्षा होती है।

2. को-ओनर बनें

बैंक तभी लोन अप्रूव करेगा जब दोनों व्यक्ति प्रॉपर्टी के सह-मालिक होंगे। सिर्फ गारंटर बनकर फायदा नहीं मिलेगा।

3. डॉक्यूमेंट्स तैयार रखें

दोनों एप्लिकेंट्स के PAN, Aadhaar, आय प्रमाणपत्र, बैंक स्टेटमेंट और प्रॉपर्टी के डॉक्यूमेंट्स तैयार रखें।

4. बैंक में आवेदन करें

सभी कागजों के साथ आवेदन करें। बैंक दोनों के क्रेडिट स्कोर और इनकम की जांच करेगा।

5. लोन अप्रूवल और डिस्बर्सल

एक बार लोन अप्रूव हो गया तो बैंक प्रॉपर्टी के वैल्यूएशन के बाद पैसा सीधे विक्रेता को ट्रांसफर कर देता है।


जॉइंट लोन लेते समय किन बातों का ध्यान रखें

जॉइंट लोन सुनने में तो आसान लगता है, लेकिन कुछ बातों का ध्यान रखना जरूरी है, वरना “हमारा घर” कभी-कभी “हमारा झगड़ा” भी बन सकता है!

1. आपसी समझ और भरोसा

दोनों एप्लिकेंट्स के बीच मजबूत समझ होनी चाहिए। EMI, टैक्स बेनिफिट, और प्रॉपर्टी से जुड़े फैसले मिलकर लेने चाहिए।

2. EMI बंटवारा तय करें

पहले से तय कर लें कि EMI कौन और किस अनुपात में भरेगा। इससे भविष्य में कोई गलतफहमी या विवाद नहीं होगा।

3. डिफॉल्ट से बचें

अगर किसी कारण EMI मिस होती है तो दोनों की क्रेडिट रिपोर्ट पर असर पड़ता है। इसलिए समय पर भुगतान बेहद जरूरी है।

4. टैक्स छूट की योजना बनाएं

दोनों को टैक्स बेनिफिट तभी मिलेगा जब दोनों लोन और प्रॉपर्टी के को-ओनर हों। सिर्फ नाम जुड़वाने से फायदा नहीं होगा।

5. बैंक की शर्तें ध्यान से पढ़ें

हर बैंक की पॉलिसी अलग होती है। ब्याज दर, प्रोसेसिंग फीस, फोरक्लोजर चार्ज और अन्य नियम पहले ही जान लें।


जॉइंट होम लोन में आने वाली आम गलतियां

लोग कई बार जल्दबाजी में कुछ ऐसी गलतियां कर बैठते हैं जो आगे जाकर परेशानी का कारण बनती हैं।
यहाँ कुछ आम गलतियाँ दी गई हैं 👇

  • सिर्फ भरोसे के आधार पर लोन ले लेना, बिना EMI बंटवारे का लिखित समझौता किए

  • रिश्ते की कानूनी वैधता न होना

  • टैक्स बेनिफिट का गलत हिसाब लगाना

  • किसी एक एप्लिकेंट का क्रेडिट स्कोर बहुत कम होना

  • डॉक्यूमेंट्स में गलत या अधूरी जानकारी देना


टैक्स बेनिफिट्स – डबल छूट का मज़ा

जॉइंट होम लोन का सबसे बड़ा फायदा टैक्स छूट है। दोनों को अलग-अलग डिडक्शन मिल सकती है।

टैक्स सेक्शन विवरण अधिकतम छूट (प्रति व्यक्ति)
सेक्शन 80C लोन के प्रिंसिपल अमाउंट पर छूट ₹1.5 लाख
सेक्शन 24(b) ब्याज के भुगतान पर छूट ₹2 लाख
कुल टैक्स छूट दोनों मिलकर अधिकतम लाभ ₹7 लाख तक

अगर दोनों एप्लिकेंट्स कामकाजी हैं, तो कुल टैक्स छूट दोगुनी हो जाती है। यानी EMI भरते हुए भी टैक्स में बचत – क्या बात है!


अगर किसी एक की मृत्यु हो जाए तो क्या होगा?

कई लोग यह सवाल पूछते हैं कि अगर किसी एक को-एप्लिकेंट की मृत्यु हो जाए, तो बाकी व्यक्ति को क्या करना पड़ता है?
ऐसे मामलों में दूसरा व्यक्ति पूरी EMI चुकाने का जिम्मेदार होता है। इसलिए लोन लेते समय होम लोन इंश्योरेंस लेना समझदारी होती है, ताकि ऐसी स्थिति में परिवार पर वित्तीय बोझ न आए।


जॉइंट होम लोन बनाम सिंगल होम लोन

तुलना का बिंदु जॉइंट होम लोन सिंगल होम लोन
लोन अमाउंट ज्यादा सीमित
टैक्स बेनिफिट डबल सिंगल
EMI का बोझ साझा अकेले
अप्रूवल स्पीड तेज सामान्य
जोखिम कम (दो लोग) ज्यादा (एक व्यक्ति)

जॉइंट होम लोन के लिए बेस्ट टिप्स

  1. दोनों की इनकम डॉक्यूमेंट्स तैयार रखें।

  2. EMI बंटवारा लिखित में तय करें।

  3. प्रॉपर्टी के ओनरशिप डॉक्यूमेंट में दोनों के नाम शामिल करें।

  4. टैक्स छूट के लिए दोनों का योगदान सुनिश्चित करें।

  5. किसी भी बैंक से पहले ब्याज दरों की तुलना जरूर करें।


FAQs – अक्सर पूछे जाने वाले सवाल

Q1. जॉइंट होम लोन कौन ले सकता है?
पति-पत्नी, माता-पिता और संतान या भाई-बहन (कुछ मामलों में) मिलकर जॉइंट लोन ले सकते हैं।

Q2. क्या दोस्तों के साथ जॉइंट लोन लिया जा सकता है?
नहीं, बैंक सिर्फ कानूनी रिश्तों में ही जॉइंट लोन की अनुमति देता है।

Q3. क्या दोनों को टैक्स बेनिफिट मिलेगा?
हां, लेकिन तभी जब दोनों प्रॉपर्टी के को-ओनर और लोन के को-एप्लिकेंट हों।

Q4. क्या एक व्यक्ति का खराब क्रेडिट स्कोर लोन को प्रभावित करता है?
हां, अगर किसी एक का स्कोर कम है तो लोन अप्रूवल में मुश्किल आ सकती है।

Q5. क्या EMI बराबर बांटना जरूरी है?
नहीं, EMI का अनुपात दोनों की सुविधा और इनकम के अनुसार तय किया जा सकता है।


निष्कर्ष – समझदारी और भरोसे का मेल है जॉइंट होम लोन

जॉइंट होम लोन न सिर्फ घर खरीदने का आसान तरीका है, बल्कि यह वित्तीय जिम्मेदारी और पारिवारिक एकता का भी प्रतीक है। इससे आपको ज्यादा लोन अमाउंट, कम ब्याज, टैक्स में बचत और EMI में राहत – सब कुछ एक साथ मिलता है।

लेकिन याद रखें, यह तभी सफल होता है जब दोनों पार्टनर्स में आपसी समझ और भरोसा हो। आखिर घर सिर्फ दीवारों से नहीं बनता, रिश्तों और जिम्मेदारियों से बनता है।

तो अगर आप भी अपने परिवार के साथ “हमारा घर” का सपना देख रहे हैं, तो जॉइंट होम लोन जरूर सोचें — क्योंकि अकेले का सपना मिलकर पूरा करना ज्यादा आसान होता है। 🏠✨

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